धान क्रय केंद्र कम होने से बिचौलियों की आ रही मौज
कालाढूंगी:-केंद्र व राज्य सरकार एक तरफ किसानों के लिए कृषि सुधार बिल पास कर उनकी आय दोगुनी करने की बात कर रही है पर दूसरी तरफ धान क्रय केंद्र के माकूल इन्तिजाम न होने से बिचौलियों के मजे आ रहे हैं। तो वहीं जो क्रय केंद्र खुले भी हैं वहां धान में नमी व कूड़ा बताकर 3 से 6 किलो तक किसान के धान में कटौती की जा रही है। कालाढूंगी तहसील अंतर्गत इस समय कृषक अपने धान को बेचने के लिए मजबूरी में बिचौलियों की शरण में जा रहे हैं क्योंकि इतने बड़े कालाढूंगी तहसील के अंतर्गत मात्र दो ही क्रय केंद्र लगाए गए हैं।
कुछ विभागीय अधिकारियों से पूछने पर बताया गया कि कालाढूंगी क्षेत्र में धान की उपज कम होती है। इसलिए दो ही क्रय केंद्र खोले जाते हैं। एक चकलुवा तो दूसरा बैलपड़ाव में। कालाढूंगी, कमोला तथा पूरे कोटाबाग क्षेत्र में धान तोल केंद्र न होने से किसान परेशान हैं। और अपने धान ओने पौने दामों में बेचने को मजबूर हैं। इधर आज एसडीएम कालाढूंगी गौरव चटवाल ने बैलपड़ाव में क्रय केंद्र का निरीक्षण कर स्तिथि का जायजा लिया ताकि किसी कृषक को कोई परेशानी न हो।
एसडीएम गौरव चटवाल ने कहा कि कृषकों को अपने धान क्रय करने में कोई परेशानी न हो इस लिए उनके द्वारा क्रय केंद्र का निरीक्षण कर जहां कृषकों से बात की वहीं धान क्रय करने में लगे कर्मियों से धान तुलाई में तेजी लाने के निर्देश दिए।
युवा कांग्रेस के जिला सचिव नदीम अहमद का कहना है कि केंद्र ने कृषि सुधार बिल के नाम पर किसानों को छलने का कार्य किया है। एक तो कालाढूंगी, कोटाबाग, नयागांव, कमोला में क्रय केंद्र न होने के कारण बिचौलियों के मजे आ रहे हैं वहीं इतने बड़े क्षेत्र के मात्र दो क्रय केंद्रों पर भी धान में नमी व कूड़े के नाम पर 3 से 6 किलो तक किसान के गेहूं से कटौती की जा रही है। जो सरासर किसानों के साथ अन्याय है।