रिखणीखाल थानाध्यक्ष ने पूछी शहीद के परिवार से कुशल क्षेम।
रिखणीखाल:– जम्मू कश्मीर के कठुवा में बीते 9 जुलाई को हुए आतंकी हमले में रिखणीखाल नौदानू गांव के हवलदार कमल सिंह शहीद हो गए थे। जिसमे प्रधानमंत्री, मुख्यमंत्री सहित तमाम बड़े नेताओं और हजारों की संख्या में जनता ने शहीद को नम आंखों से श्रद्धांजलि दी। लेकिन अब कोई भी शहीदों के परिवार की कुशलक्षेम पूछने के लिए नहीं जाते है।
जिस तरह से रिखणीखाल पुलिस थाने के थानाध्यक्ष संतोष पैथवाल अपने सहकर्मियों के साथ शहीद हवलदार कमल सिंह के घर जाकर उनके परिवार जनों से मिलकर कुशल क्षेम ली जहां पर उनकी बुजुर्ग दादी, माता जी तथा चाचा महेंद्र सिंह के साथ बात करके परिवार के असहनीय दुःख को साझा करते हुए उन्होंने परिवार को आश्वस्त किया की कभी किसी विभाग से संबंधित राजकीय कार्य में समस्या रहे तो वह उस विभाग से समन्वय कर पूर्ण करने का प्रयास करेंगे। वहीं थानाध्यक्ष संतोष पैथवाल ने सहकर्मियों को भी समय समय पर शहीद परिवार से मिलकर कुशलक्षेम पूछने के लिए कहा। शहीद के परिजनों ने भावुक होकर कुशलक्षेम पूछने के लिए थानाध्यक्ष का आभार जताया।
उत्तराखण्ड सैन्य बहुल्य प्रदेश है और उत्तराखण्ड का लाल जब देश कि रक्षा करते हुए शहीद होता है तो प्रधानमंत्री और मुख्यमंत्री सहीत तमाम नेता शहीद को श्रद्धांजलि देते है और उसके बाद हजारो कि संख्या में लोग शहीद कि अंतिम यात्रा में, जब तक सुरज चांद रहेगा तब तक शहीद का नाम रहेगा, जैसे बडे नारो के साथ सामिल होकर शहीद का पार्थिव शरीर पंच तत्व में विलिन हो जाता है यह भी कहा जा सकता है कि सैनिक के प्राणो का बलिदान केवल श्रद्धांजलि और अंतिम यात्रा तक ही सीमित है।
कुछ समय बाद शहीद के परिवार का हालचाल जानने के लिए कोई नहीं जाता है। प्रशासन, नेता, जनप्रतिनिधि शहीद के परिवार से दुरियां बना लेते है।
जिस तरह से रिखणीखाल के थानाध्यक्ष संतोष पैथवाल ने शहीद हवलदार कमल सिंह के परिवार का हालचाल जाना इसी तरह से अगर प्रदेश में सभी जिम्मेदार अधिकारी कभी समय निकालकर शहीदों के परिवारों की कुशल क्षेम पूछ ले तो शहीदों को सच्ची श्रद्धांजलि यही होगी।
रिखणीखाल के थानाध्यक्ष संतोष पैथवाल को शहीद के परिवार की कुशल क्षेम पूछने के लिए समाचार 27 बधाई देता है।